बस्ती में विपक्षी चेहरा रहे चन्द्रमणि सुदामा भजपा में शामिल
बस्ती जनपद में सुदामा के नाम से विख्यात समाजसेवी चन्द्रमणि पाण्डेय सुदामा जो कि न केवल जनपद के मुख्य विपक्षी चेहरा रहे अपितु संघर्षों का इतिहास रचकर जिले से लेकर प्रदेश स्तर तक जनसामान्य की समस्याओं का निराकरण कराया उन्होंने आज सैकड़ों समर्थकों के साथ भाजपा का दामन थाम लिया ज्ञात हो कि 2017 में भाजपा से बगावत करने वाले श्री पाण्डेय ने जनपद के टूटे अमहट पुल निर्माण, फुटहिया व छावनी में अण्डरपास निर्माण विक्रमजोत के तटबंध विहीन गांव में बांध निर्माण दुबौलिया के चांदपुर कटरिया व अयोध्या पुल के नीचे सरयु नदी में ड्रेजिंग कराने बदहाल सड़कों को दुरुस्त कराने के साथ साथ जनपद की सैकड़ों जनसमस्याओं का न केवल समाधान कराया अपितु स्कूलों का मान्यता प्रत्यावेदन शुल्क जो कि वर्ष 2020में 25हजार से बढ़कर 1.5लाख हो गया था उसे पुनः 25हजार कराते हुए पूरे सूबे के स्कूलों को राहत दिलाया 550%प्रस्तावित स्टाम्प ड्यूटी शुल्क वृद्धि को वापस कराया व जून 2018में आमरण-अनशन कर नये घाट से जन्मभूमि तक फैली गंदगी को साफ कराने व बदहाल जन्मभूमि के तिरपाल को दुरुस्त कराया शैक्षणिक जीवन से राम मंदिर आंदोलन से जुड़े सुदामा ने कहा कि हम राम, श्याम, गरीबों हित काम व बाबा विश्वनाथ के धाम के विषयों को लेकर भाजपा में आये हैं हम नहीं चाहते कि सूबे में पुनः गुण्डा राज व जंगल राज व्याप्त हो जब सत्ता पाने हेतु कुछ लोग धार्मिक गानों को लेकर हत्या तक कर दें रहे हैं तो सत्ता पाने पर क्या करेंगे विचारणीय है उन्होंने कहा कि हमने पार्टी में रहते हुए भी बस्ती जनपद सहित 13जिले जो हुदहुद आने पर आपदाग्रस्त घोषित नहीं हुए थे उन्हें आपदा ग्रस्त घोषित कराया था वर्ष 2003 में हर तीसरे वर्ष स्कूलों के होने वाले मान्यता रिनिवल को समाप्त कराया था इतना ही नहीं बस्ती जनपद में उन्होंने भाजपा की नंबर एक सदस्यता कराया था किन्तु पार्टी द्वारा उन्हें उपेक्षित करने व 2017 में किसी कार्यकर्ता को टिकट न मिलने के चलते बागी हो गये थे श्री पाण्डेय को एक पखवाड़े पूर्व मनाने पहुंचे सांसद हरीश द्विवेदी ने घर वापसी का आग्रह किया तो उन्होंने लोगों से रायसुमारी के उपरान्त यह फैसला लिया उन्होंने कहा कि जिन जनसामान्य के मुद्दों को लेकर मैं पार्टी से बाहर संघर्ष करता था वो आगे भी जारी रहेगा।
श्रीपाण्डेय के साथ जातीय बंधन से परे उमड़ा जनसैलाब
श्रीपाण्डेय के साथ बृज भूषण पाण्डेय, विनोद चौधरी, राम लक्षन वर्मा, मनीष त्रिपाठी, प्रदीप सिंह, दिनेश कुमार द्विवेदी, रुदल चौहान, अरुण सिंह (बड़े सिंह), हरिश्चंद्र मौर्या, राजेश कुमार कसौधन, धर्मेन्द्र सोनी व्यापार मंडल अध्यक्ष, हनुमान वर्मा, संदीप कुमार, चन्द्र प्रकाश तिवारी, दिनेश त्रिपाठी, वेद प्रकाश त्रिपाठी, संतोष पाठक, विवेक तिवारी, अनिल कुमार, श्रवण शुक्ल, मनोज पाण्डेय, अनिल शुक्ल, राम सरन, कप्तान चौहान, दिवाकर, मुनवर, शिवम् तिवारी, शुभम पाण्डेय, राजेश मिश्रा, नितेश पाण्डेय, अजय पाण्डेय, राज त्रिपाठी, चन्द्र प्रकाश तिवारी, ओमप्रकाश तिवारी, शुभम सिंह, गौतम सिंह, जितेन्द्र शुक्ल, सूरज मिश्रा, अंशु उपाध्याय, सत्यम शुक्ल, विनोद तिवारी, विवेक तिवारी, देवेन्द्र मिश्रा, सौरभ तिवारी, राम अवतार शर्मा, अंशु तिवारी, अंकित तिवारी, विक्की तिवारी, सत्यम शुक्ल, सोनू पाण्डेय, नन्हे पाण्डेय, अवनीश पाण्डेय, राम प्रकाश उर्फ़ विनय, श्री जैसराम, राजू पाण्डेय, दीपक पाण्डेय, विवेक पाण्डेय, अतुल पाण्डेय, गुड्डू पाण्डेय, घनश्याम पाण्डेय, शुड्डू चौधरी, तुषार पाण्डेय, अजीत पाण्डेय, सोमनाथ त्रिपाठी, शिवम् दूबे, राज दूबे, देवकी पाण्डेय, राम मोहन पाण्डेय, उपेन्द्र पाण्डेय, आशुतोष पाण्डेय, दिनेश, अभिषेक, नीरज, अर्जुन मिश्र, दीपक तिवारी, अभिषेक शर्मा, सुरेश, प्रमोद तिवारी, वृजेश कुमार यादव, संदीप यादव, विवेक मोहन यादव, विनोद चौधरी, राम लक्षन वर्मा, अभिषेक शर्मा, हेमंत मिश्र, देवशरण शुक्ल, महेश कुमार गौतम सहित सैकड़ों लोग भी शामिल हुए।